दक्षिणपंथी के हाथों में JNU; नई वीसी गोड्से की समर्थक, अल्पसंख्यक विरोधी !
अब देखने वाली बात होगी की यूनिवर्सिटी की नई वाइस चांसलर अपने किस एजेंडे के साथ कैंपस चलाती हैं...

जवाहरलाल नेहरू यूनिवर्सिटी की कमान अब दक्षिणपंथी हाथों में सौंप दी गई है। नई और पहली महिला वाइस चांसलर की नियुक्ति विवादों में है। शिक्षा मंत्रालय ने सोमवार को उनकी नियुक्ति का ऐलान किया। नई वाइस चांसलर शांतिश्री धूलिपुड़ी पंडित (Santishree Dhulipudi Pandit) का गोड्से प्रेम सोशल मीडिया पर उभर आया है और उन्हें गोड्से प्रेमी बताया जा रहा है। (Appointment Letter)
59 वर्षीय पंडित भी जेएनयू की पूर्व छात्रा हैं, जहां उन्होंने एमफिल के साथ-साथ अंतर्राष्ट्रीय संबंधों में पीएचडी की पढ़ाई की।
शिक्षा मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, "राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद, जो विश्वविद्यालय के विज़िटर हैं, ने शांतिश्री धूलिपुडी पंडित को जेएनयू के कुलपति (वीसी) के रूप में नियुक्त करने को मंजूरी दे दी है। उनकी नियुक्ति पांच साल की अवधि के लिए है।" इस ऐलान से पहले महाराष्ट्र के सावित्रीबाई फुले यूनिवर्सिटी की वाइस चांसलर रहीं शांतिश्री पंडित को बीजेपी का बचाव करते भी देखा गया है। उन्होंने 20 दिसंबर 2020 के अपने एक ट्वीट में लिखा था, “अगर बीजेपी गोड्से की पार्टी है तो वो सभी पार्टियां जो मुसलमानों का समर्थन करती है जैसे टीएमसी एक आतंकवादी और घुसपैठियों की पार्टी है, जिसने बलात्कार किया और हिन्दू धार्मिक स्थलों को बर्बाद किया। वे बंगाल के क़साइयों का समर्थन करते हैं।” (Tweet)
शिक्षा मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, "राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद, जो विश्वविद्यालय के विज़िटर हैं, ने शांतिश्री धूलिपुडी पंडित को जेएनयू के कुलपति (वीसी) के रूप में नियुक्त करने को मंजूरी दे दी है। उनकी नियुक्ति पांच साल की अवधि के लिए है।" इस ऐलान से पहले महाराष्ट्र के सावित्रीबाई फुले यूनिवर्सिटी की वाइस चांसलर रहीं शांतिश्री पंडित को बीजेपी का बचाव करते भी देखा गया है। उन्होंने 20 दिसंबर 2020 के अपने एक ट्वीट में लिखा था, “अगर बीजेपी गोड्से की पार्टी है तो वो सभी पार्टियां जो मुसलमानों का समर्थन करती है जैसे टीएमसी एक आतंकवादी और घुसपैठियों की पार्टी है, जिसने बलात्कार किया और हिन्दू धार्मिक स्थलों को बर्बाद किया। वे बंगाल के क़साइयों का समर्थन करते हैं।” (Tweet)
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